Padmavat Media
ताजा खबर
क्राइमटॉप न्यूज़देशराजस्थान

जनसंपर्क विभाग के आयुक्त सुनील शर्मा द्वारा विशेष योग्यजन पर किए जा रहे अत्याचार के खिलाफ न्यायालय ने दिए सख्त आदेश

आयुक्त द्वारा भ्रष्टाचार किया गया है, और उसके खिलाफ न्यायालय ने आदेश दिया है ।‌

जनसंपर्क विभाग के आयुक्त सुनील शर्मा द्वारा विशेष योग्यजन पर किए जा रहे अत्याचार के खिलाफ न्यायालय ने दिए सख्त आदे

जयपुर । राजस्थान सरकार के सूचना एवं जनसंपर्क विभाग (डीआईपीआर) के आयुक्त सुनील शर्मा द्वारा अपने पद की गरिमा ना रखते हुए और सभी नियमों को दरकिनार रखते हुए मनमाने तरीके से अपने ही विभाग के एक विशेष योग्यचन अधिकारी को लंबे समय से अनैतिक एवं गैर कानूनी ढंग से अति प्रताड़ित किया जा रहा था । प्रताड़ित हो रहे अधिकारी को अब न्याय की उम्मीद मिली है , जब राज्य के विशेष योग्यजन आयुक्त (एसएपी) ने जनसंपर्क विभाग में हो रहे भ्रष्टाचार वह दिव्यांगजन के साथ किए गए अन्याय पर संज्ञान लेते हुए जनसंपर्क विभाग को सख्त निर्देश जारी किए हैं।

जनसंपर्क आयोग सुनील शर्मा
अधिकारी जो 75% दिव्यांगता से ग्रसित हैं, ने आयोग में अपना मत रखते हुए शिकायत दर्ज कराई थी कि पिछले 32 महीनों में आयुक्त द्वारा जानबूझकर उनका तबादला छह अलग-अलग जिलों में किया गया , जिसमें उनकी दिव्यांगता , चिकित्सा स्थिति और सरकारी नियमों को पूरी तरह अनदेखा किया गया। साथ ही विभाग के आयुक्त सुनील शर्मा ने उनकी पदोन्नति भी गैर कानूनी व अनैतिक तरीके से रोक दी ।
विशेष योग्यजन अधिकार अधिनियम की धारा 80 और 82 के तहत राज्य आयुक्त ने सूचना एवं जनसंपर्क आयुक्त सुनील शर्मा को निर्देशित करते हुए कहां है कि दिव्यांग अधिकारी की पदोन्नति तत्काल की जाए , अधिकारी की चिकित्सा स्थिति को ध्यान में रखते हुए उनका स्थानांतरण उनके गृह नगर में किया जाए । विशेष जन आयोग ने यह आदेश भी दिया कि जनसंपर्क विभाग द्वारा किए गए अन्याय के करण दिव्यांग अधिकारी को जो वित्तीय हानि हुई है, उसकी क्षतिपूर्ति की जाए तथा हानि पहुंचने के लिए जिम्मेदार अधिकारी एवं बाबू पर सख्त एवं दंडनीय कार्रवाई की जाए । साथ ही आयोग ने अधिनियम की धारा 20 और 92 के तहत दोषी अधिकारियों की पहचान कर उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने के भी निर्देश दिए हैं ।
आयुक्त द्वारा भ्रष्टाचार किया गया है, और उसके खिलाफ न्यायालय ने आदेश दिया है ।‌
अपने आदेश में विशेष जन आयोग ने सभी निर्देशों की पालना 15 दिनों सुनिश्चित कर रिपोर्ट प्रस्तुत करने को कहा है
राज्य आयुक्त उमा शंकर शर्मा ने इस मामले में त्वरित न्याय दिलाने की आवश्यकता पर जोर दिया और कहा कि दिव्यांगजनों के अधिकारों की रक्षा करना सरकार और प्रशासन की नैतिक व कानूनी जिम्मेदारी है।
इस आदेश के बाद उम्मीद की जा रही है प्रताड़ित जनसंपर्क अधिकारी को न्याय मिलेगा और भविष्य में दिव्यांग कर्मचारियों के साथ होने वाले भेदभाव पर अंकुश लगेगा।

Related posts

हनुमानगढ़ जिले में पीलीबंगा थाना क्षेत्र में फायरिंग कर भागे बदमाशों की पुलिस से मुठभेड़

Rajasthan Forecast Report: प्रदेश में मानसून की दस्तक से पहले हल्की राहत, आज बारिश की संभावना

Padmavat Media

20 लाख रुपये से अधिक के ड्रग्स के साथ भागने की कोशिश कर रहा नाइजीरियाई नागरिक को बोरीवली में एएनसी अधिकारियों ने किया गिरफ्तार।

Padmavat Media

Leave a Comment

error: Content is protected !!