गैंगरेप के आरोपित 70 वर्षीय मेवाराम को कॉन्ग्रेस ने पार्टी से निलंबित किया, सोशल मीडिया पर वायरल है अश्लील वीडियो
जयपुर । नाबालिग बच्चियों से गैंगरेप के आरोपित कॉन्ग्रेस के पूर्व विधायक मेवाराम जैन को पार्टी से निलंबित कर दिया है। 70 साल के मेवाराम राजस्थान के बाड़मेर से तीन बार विधायक रह चुके हैं। मामला सामने आने के बाद कॉन्ग्रेस ने मौन धारण कर लिया था, लेकिन जब मेवाराम के कई अश्लील वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने लगे तो पार्टी को यह कदम उठाना पड़ा।
निलंबन के आदेश में कॉन्ग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने लिखा, “मेवाराम के अनैतिक कार्य से स्पष्ट होता है कि उन्होंने कॉन्ग्रेस के संविधान के खिलाफ आचरण किया है।” बताते चलें कि अश्लील वीडियो वायरल होने से पहले मेवाराम के खिलाफ एक पीड़िता ने 20 दिसंबर 2023 को जोधपुर में गैंगरेप का मामला दर्ज कराया था।
पीड़िता ने मेवाराम सहित 9 लोगों के खिलाफ जोधपुर के राजीव गाँधी नगर थाने में ST-SC Act, POCSO, गैंगरेप सहित 18 धाराओं में मामला दर्ज करवाया था। पीड़िता ने कहा था कि जब मेवाराम विधायक थे तो अपने रसूख के दम पर अपने खिलाफ कार्रवाई नहीं होने दी। इतना ही नहीं, मेवाराम ने मामला दर्ज कराकर पीड़िता को सेक्सटॉर्शन में गिरफ्तार करवा दिया था।
साल 2022 में मेवाराम के रेप से जुड़े वीडियो के तीन स्क्रीनशॉट वायरल हुए थे। तब मेवाराम ने बाड़मेर कोतवाली थाने में सेक्सटॉर्शन का केस कराया था। इस मामले में 2 महिलाओं, एक वकील और एक अन्य व्यक्ति की गिरफ्तारी हुई थी। उन पर आरोप लगाए गए थे कि अश्लील वीडियो दिखाकर ये लोग मेवाराम के साथी रामस्वरूप आचार्य से 5 करोड़ रुपए माँगे। मामला 50 लाख में तय हुआ, लेकिन फिर उनसे 1 करोड़ रुपए माँगने लगे।
पिछले साल दिसंबर में पीड़िता ने थाने में रिपोर्ट दर्ज करवाते समय कहा कि मेवाराम और उनके साथी रामस्वरूप आचार्य ने न केवल उसका, बल्कि उसकी सहेली का भी रेप किया गया। इतना ही नहीं, मेवाराम ने उसकी नाबालिग बेटी का भी यौन शोषण किया। पीड़िता ने कहा था कि जब मेवाराम और रामस्वरूप उनका रेप कर करके थक गए तो उन्होंने पीड़िता से 15-16 साल की लड़कियों को लाने को कहा।
पुलिस ने इस मामले में पूछताछ पीड़िता की सहेली से की तो कहानी और भयावह निकली। सहेली ने बताया कि उसे तो प्राइवेट पार्ट में डंडा डालकर प्रताड़ित किया गया था। महिला के आरोपों के बाद मेडिकल करवाया गया था और बयान भी दर्ज हुए थे। वहीं मेवाराम ने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था जिसके बाद 25 जनवरी तक उसकी गिरफ्तारी पर रोक लगा दी गई थी।
बताते चलें कि 20 नवंबर 2023 को प्रवर्तन निदेशालय की जयपुर इकाई ने मेवाराम के खिलाफ धनशोधन कानून के तहत मामला दर्ज किया था। कोतवाली थाने के सेक्सटॉर्शन केस में 50 लाख रुपए की लेन-देन को आधार बनाते हुए 5 करोड़ रुपए की अवैध लेनदेन का आरोप लगाया गया। इसके बाद 25 नवंबर 2023 को मेवाराम को पूछताछ के लिए ईडी ने नोटिस दिया।
उधर, मेवाराम जैन ने राजस्थान हाईकोर्ट में इसको लेकर अपील दायर की। अपनी अपील में मेवाराम ने कहा कि अभी वे विधानसभा चुनाव लड़ रह रहे हैं। इसे ध्यान में रखते हुए उन्हें राहत दी जाए। इसके बाद हाईकोर्ट ने उन्हें 25 जनवरी 2024 तक राहत दे दी। हालाँकि, बाड़मेर से तीन बार विधायक रहे मेवाराम को इस चुनाव में भाजपा की बागी निर्दलीय उम्मीदवार प्रियंका चौधरी ने हरा दिया।