नवी मुंबई डांस बार का काला सच: मंत्री हैं सजग, अधिकारी हैं लाचार, और लड़कियाँ चलाती हैं ठगी का धंधा
नवी मुंबई में जिस प्रकार डांस बारों की आड़ में खुलेआम ठगी, अश्लीलता और नैतिक पतन का धंधा चल रहा है, वह अत्यंत निंदनीय है और समाज को अंदर से दीमक की तरह खोखला कर रहा है। ‘The Race’ नामक डांस बार पर हाल ही में हुई छापेमारी, जिसमें करीब 40 से अधिक युवतियाँ संदिग्ध गतिविधियों में लिप्त पाई गईं, सरकार की सख्ती का संकेत देती है।
मैं योगेश कदम जी द्वारा कराई गई इस कार्रवाई की खुले मन से सराहना करता हूँ। यह एक साहसिक कदम है, लेकिन सवाल ये है कि आखिर सिस्टम की लाचारी ने इन बारों को फिर से फलने-फूलने कैसे दिया? कहीं न कहीं प्रशासनिक मौन या मिलीभगत इस गिरावट का कारण है।
मगर आज जो सबसे खतरनाक पहलू हमारे सामने है, वह इन डांस बार में काम करने वाली कुछ युवतियों की मानसिकता और उनका षड्यंत्रकारी रवैया है।
मैं स्पष्ट रूप से कहना चाहता हूँ कि ये लड़कियाँ अब मजबूरी में नहीं, बल्कि जानबूझकर और गर्व के साथ इस घिनौने व्यापार को अंजाम दे रही हैं। ये सिर्फ नाचने तक सीमित नहीं हैं — ये वहाँ आने वाले पुरुषों को अपने मायावी जाल में फँसाती हैं, उनसे भावनात्मक रिश्ता बनाकर ‘बाहरी पत्नी’, ‘गर्लफ्रेंड’, या ‘जीवनसाथी जैसा साथ’ देने का झूठा नाटक करती हैं।
कई शादीशुदा पुरुष, युवा, वरिष्ठ नागरिक, और बड़े उद्योगपति तक इनकी चालों में फँसकर बर्बाद हो चुके हैं।
इन लड़कियों ने एक संगठित मानसिक शोषण का नेटवर्क खड़ा कर रखा है — जहाँ वे ‘सच्चे प्यार’ या ‘समर्थन’ के नाम पर भावनात्मक शोषण कर, धीरे-धीरे पुरुषों की कमाई, गहने, गाड़ियाँ और संपत्तियाँ हड़प रही हैं। और अंत में वे खुद मालामाल हो जाती हैं, जबकि पीड़ित पुरुष परिवार, समाज और आत्म-सम्मान से टूटकर रह जाते हैं।
मैं माँग करता हूँ कि—
• इन लड़कियों के खिलाफ ठगी, षड्यंत्र, मानसिक शोषण और धारा 420, 406, 417 IPC जैसी धाराओं में मुकदमे दर्ज हों।
• ऐसे बारों में काम कर रही युवतियों की आर्थिक स्थिति, पिछले लेन-देन और सोशल लिंक की गहन जांच हो।
• यह केवल अनैतिकता नहीं, सुनियोजित मानसिक अपराध है, और इसके लिए सिर्फ बार मालिक ही नहीं, इन लड़कियों को भी मुख्य आरोपी बनाया जाए।
• डांस बार माफिया, जो इन गतिविधियों को व्यवस्थित रूप से चला रहा है, उसे संगठित अपराध की श्रेणी में रखकर कार्रवाई की जाए।
मैं मोहित गुप्ता, बतौर राष्ट्रीय अध्यक्ष, यह स्पष्ट करना चाहता हूँ कि ‘नेशनल ह्यूमन राइट्स एंटी क्राइम एंड एंटी करप्शन ब्यूरो’ इस लड़ाई को सच्चाई और साहस के साथ लड़ेगा। समाज की रक्षा केवल कानून से नहीं, बल्कि सामाजिक चेतना और नैतिक हिम्मत से होती है। और जब कोई अपने शरीर और चालाकी से समाज को लूटने लगे, तो उसके खिलाफ आवाज़ उठाना हर जागरूक नागरिक का धर्म है।
हम सरकार के हर उस प्रयास में सहयोगी हैं, जो इस तरह की सड़ी हुई सोच और काले कारोबार को जड़ से उखाड़ फेंकने के लिए तैयार है।
नवी मुंबई डांस बार का काला सच: मंत्री हैं सजग, अधिकारी हैं लाचार, और लड़कियाँ चलाती हैं ठगी का धंधा
Published : June 2, 2025 11:38 AM IST
Updated : June 2, 2025 11:40 AM IST