युगल मुनि का सलूम्बर में हुआ मंगल प्रवेश
सलूम्बर । आचार्य वसुनंदीजी गुरुदेव के शिष्य युगल मुनि शिवानंद व प्रशमानंद का सलूम्बर में वर्षायोग के 6 माह बाद पुनः मंगल प्रवेश हुआ। प्रातः शेषपुर मोड़ से विहार कर सलूम्बर पहुचे मुनि संघ का सकल दिगम्बर जैन समाज व मुनि सेवा समिति द्वारा वर्धमान काम्प्लेक्स दुदर पर पाद प्रक्षालन व अर्घ्य चढ़ाकर स्वागत किया गया।
जगह जगह स्वागत द्वार लगाए गए, शोभायात्रा के साथ श्रमण भवन में प्रवेश हुआ जहाँ धर्म सभा में पाद प्रक्षालन सेठ रमेश कुणीया परिवार व शास्त्र भेंट भंवरलाल कंठालिया परिवार ने किया। मुनि प्रश्मानंद ने प्रवचन में श्रावको के उत्साह की सराहना करते हुई धर्म क्षेत्र में आगे रहने का आव्हान किया। मुनि शिवानंद ने प्रवचन में कहा कि जहां बड़े बड़े आचार्य संघो का पूर्व में वर्षायोग व आगमन हुआ है उस सलूम्बर में वर्षायोग करना गौरव की बात है। आगामी 17 जून को आयोजन को सफल बनाने की जिम्मेदारी सकल समाज को देते हुए आयोजन के प्रचार प्रसार का निर्देश दिया।
प्रवास के दौरान मुख्य आयोजन
आगामी 17 जून शुक्रवार को सवा 21 फ़ीट उतुंग भव्य मुनिसुव्रतनाथ व सहस्रफनी पार्श्वनाथ भगवान , शांतिनाथ व धर्मनाथ भगवान की प्रतिमा का नगर में आगमन हो रहा है जिसे शोभायात्रा पूर्वक नगर में भ्रमण के साथ रूप्यगिरी व पार्श्वनाथ मंदिर पहुचाई जाएगी। 18 जून शनिवार को रूप्यगिरी मंदिर में मुनिसुव्रतनाथ भगवान व 19 जून रविवार को पार्श्वनाथ भगवान सहित तीन प्रतिमायें विराजित होगी। अध्यक्ष दिनेश ढालावत व देशवृति हुक्मीचंद सिंघवी, प. नितिन गुनावत ने स्वागत उद्बोधन दिया। संचालन पंडित कमलेश सिंघवी ने किया।